राष्ट्रीय प्रेस दिवस- आधुनिक युग में पत्रकार जगत के चौथे स्तम्भ को बनाए रखना जरुरी

23
खबर शेयर करें -

“राष्ट्रीय प्रेस दिवस पर शनिवार को जिला सूचना कार्यालय नैनीताल में प्रेस की बदलती प्रकृति” “प्रेस का बदलता स्वरूप” विषय पर विस्तृत चर्चा और गोष्ठी का आयोजन किया गया।

प्रेस प्रतिनिधियों ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि समय के अनुसार प्रेस की प्रकृति भी बदली है। जहां पहले पारंपरिक माध्यम प्रिंट मीडिया का दौर था वहीं अब इलेक्ट्रॉनिक के साथ ही डिजिटल प्लेटफॉर्म भी चलन में है। इससे सूचनाओं के आदान प्रदान में तेजी आई है किंतु यह हमारा दायित्व है कि हम सावधानी से तथ्यों सहित खबरों का प्रसार करे। इससे लोगों को सही जानकारी मिलेगी।

साथ ही निष्पक्ष एवं स्वतंत्र पत्रकारिता के मूल्यों के संरक्षण एवं संवर्धन पर चर्चा की गयी। साथ ही प्रेस प्रतिनिधियों ने अपने सुझाव रखें। उन्होंने कहा कि आज के इस आधुनिक युग में पत्रकार जगत के चौथे स्तम्भ को बनाएं रखना जरुरी हैं। बता दें कि

भारत में प्रेस की स्वतंत्रता और पत्रकारिता के महत्व को पहचानने के लिए 1966 से प्रत्येक वर्ष 16 नवंबर को राष्ट्रीय प्रेस दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसको मनाने का उद्देश्य प्रेस की स्वतंत्रता के विभिन्न प्रकार के उल्लघंनों की गंभीरता के बारे में जानकारी देना है। गोष्ठी में जिला सूचना अधिकारी ज्योति सुंदरियाल समेत प्रेस प्रतिनिधि मौजूद रहे।